india retain same squad for second test against bangladesh

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बांग्लादेश के खिलाफ चेन्नई में खेले गए सीरीज के पहले टेस्ट मुकाबले में 280 रनों की शानदार जीत दर्ज करने के साथ भारत ने एक बड़ा कारनामा अपने नाम दर्ज कर लिया है। इस जीत के साथ भारत ने टेस्ट इतिहास में हार से ज्यादा जीत दर्ज हो गई है। भारत को इस मुकाम तक पहुंचने में 92 बरसों का समय और 580 टेस्ट मुकाबले लगे। हालांकि यह कारनामा भारत का चिर प्रतिद्वंदी पाकिस्तान महज 16 साल के अंदर ही कर चुका था। 

92 बरसों बाद भारत के नाम टेस्ट में हार से ज्यादा जीत का रिकॉर्ड

1932 में अपना पहला टेस्ट मुकाबला खेलने वाली भारतीय टीम ने अपने 92 साल के क्रिकेट इतिहास में चार वर्ल्ड कप खिताब अपने नाम किए हैं। इसके साथ ही भारत ने न जाने कितने आईसीसी टूर्नामेंटों के टॉप चार टीमों में जगह बनाई है। हालांकि पिछले दो दशक से भारत का प्रदर्शन क्रिकेट के तीनों फॉर्मेट में लाजवाब रहा। लेकिन 2016 में विराट कोहली की कप्तानी में भारतीय टीम ने टेस्ट क्रिकेट में बड़े-बड़े कारनामे करने शुरु किए। 

पिछले 12 सालों से भी ज्यादा समय से घर एक भी टेस्ट सीरीज नहीं हारने वाली भारतीय टीम ने विराट की अगुवाई में भारत के साथ-साथ सेना देशों में भी टेस्ट में कमाल दिखाती नजर आई। हालांकि सबसे ज्यादा चौंकाने वाला प्रदर्शन भारत को पिछले दो ऑस्ट्रेलिया दौरों पर देखने को मिला। जहां भारत ने ऑस्ट्रेलिया को उसके घर में लगातार दो बार हराकर बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी अपने नाम की। 

हालांकि लगातार दो बार वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल में जगह बनाने वाली भारतीय टीम ने 22 सितंबर को बांग्लादेश को पहले टेस्ट मैच में शिकस्त देने के बाद एक शानदार कारनामा अपने नाम दर्ज किया। दरअसल पिछले 92 सालों में भारत ने तकरीबन 580 टेस्ट मुकाबले खेले हैं। जिनमें से भारत को 179 में जीत और 178 में हार का सामना करना पड़ा है। इसके साथ ही 222 टेस्ट मुकाबले ड्रॉ रहे हैं। बांग्लादेश के खिलाफ जीत के साथ भारत ने 179वीं टेस्ट जीत दर्ज करते हुए। हारे हुए मुकाबलों से ज्यादा मुकाबले जीतने का कारनामा अपने नाम किया। 

हालांकि यह कारनामा करने में भारत को जहां 580 टेस्ट मैचों तक इंतजार करना पड़ा था। वहीं यह कारनामा ऑस्ट्रेलिया ने महज 1 टेस्ट मैच में कर लिया था। इसके अलावा पाकिस्तान ने 16 और इंग्लैंड ने 23 मैचों के साथ यह कारनामा किया।